परमहंस संत शिरोमणि स्वामी सदानंद जी महाराज के प्रवचनों से—512 धर्मपरमहंस संत शिरोमणि स्वामी सदानंद जी महाराज के प्रवचनों से—512Jeewan Aadhar Editor DeskApril 19, 2025April 19, 20250
परमहंस संत शिरोमणि स्वामी सदानंद जी महाराज के प्रवचनों से—511 धर्मपरमहंस संत शिरोमणि स्वामी सदानंद जी महाराज के प्रवचनों से—511Jeewan Aadhar Editor DeskApril 18, 2025
परमहंस संत शिरोमणि स्वामी सदानंद जी महाराज के प्रवचनों से—510 धर्मपरमहंस संत शिरोमणि स्वामी सदानंद जी महाराज के प्रवचनों से—510Jeewan Aadhar Editor DeskApril 17, 2025April 17, 2025
परमहंस संत शिरोमणि स्वामी सदानंद जी महाराज के प्रवचनों से—509 धर्मपरमहंस संत शिरोमणि स्वामी सदानंद जी महाराज के प्रवचनों से—509Jeewan Aadhar Editor DeskApril 16, 2025
परमहंस संत शिरोमणि स्वामी सदानंद जी महाराज के प्रवचनों से—508 धर्मपरमहंस संत शिरोमणि स्वामी सदानंद जी महाराज के प्रवचनों से—508Jeewan Aadhar Editor DeskApril 15, 2025
धर्मस्वामी राजदास : अहंकार और पदJeewan Aadhar Editor DeskNovember 15, 2017 November 15, 2017 हर व्यक्ति राष्ट्रपति हो जाना चाहता है। हर व्यक्ति प्रधानमंत्री हो जाना चाहता है। अब साठ करोड़ के देश में एक आदमी प्रधानमंत्री होगा। एक...
धर्मओशो : हंसो का समालज, सिद्धों का समाजJeewan Aadhar Editor DeskNovember 15, 2017 November 15, 2017 एक सिंहनी छलांग लगाती थी एक पहाड़ी से। गर्भवती थी, बीच में ही बच्चा हो गया। वह बच्चा नीचे गिर गया। नीचे से भेड़ो कस...
धर्मपरमहंस स्वामी सदानंद जी महाराज के प्रवचनों से—52Jeewan Aadhar Editor DeskNovember 15, 2017January 10, 2024 November 15, 2017January 10, 2024 एक बार नामदेव जब केवल पाँच साल के थे, तो उनके पिताजी को कहीं व्यापार के कार्य से कहीं बाहर जाना पड़ा। जाते समय नामदेव...
धर्मस्वामी राजदास : एक काम—तीन सोचJeewan Aadhar Editor DeskNovember 14, 2017 November 14, 2017 एक बार एक बूढी औरत कहीं से आ रही थी कि तभी उसने तीन मजदूरों को कोई ईमारत बनाते देखा। उसने पहले मजदूर से पूछा,...
धर्मपरमहंस स्वामी सदानंद जी महाराज के प्रवचनों से—52Jeewan Aadhar Editor DeskNovember 14, 2017January 9, 2024 November 14, 2017January 9, 2024 पानी की तरह हमेशा स्वस्छ, निर्मिल और गतिशील बने रहो। पानी हर जीव का प्राण है, पानी जीवन है, खाने के बिना आदमी जीवित रह...
धर्मओशो : व्यर्थ चिंतनJeewan Aadhar Editor DeskNovember 14, 2017 November 14, 2017 बुद्ध की मृत्यु का दिन था और आनन्द रो रहा है ,सिर पीट रहा है। औश्र बुद्ध उसे समझाते हैं कि तू क्यों व्यर्थ रो...
धर्मस्वामी राजदास : अमृत की तालाशJeewan Aadhar Editor DeskNovember 13, 2017 November 13, 2017 मैंने सुना है कि सिकंदर उस जल की तालाश में था, जिसे पीने से लोग अमर हो जाते हैं। बड़ी प्रसिद्ध कहानी है उसके संबंध...
धर्मपरमहंस स्वामी सदानंद जी महाराज के प्रवचनों से—51Jeewan Aadhar Editor DeskNovember 13, 2017January 8, 2024 November 13, 2017January 8, 2024 50-60 वर्ष पहले आसाम को काला पानी कहते थे। राजस्थान में अकाल पड़ा और एक बनिये ने सोचा, व्यापार के लिए बाहर चलना चाहिए। उस...
धर्मओशो :जिज्ञासु का भावJeewan Aadhar Editor DeskNovember 13, 2017 November 13, 2017 गुरजिएफ के पास जब पहली दफा ऑस्पेन्स्की गया तो गुरजिएफ ने उससे कहा, एक कागज पर लिख लाओ। तुम जो भी जानते हो, ताकि उसे...
धर्मस्वामी राजदास : परमात्मा से कैसा सम्बंध???Jeewan Aadhar Editor DeskNovember 12, 2017 November 12, 2017 एक बहुत बड़ा धनपति समुद्र-यात्रा से वापस लौट रहा था। भंयकर तूफान उठा। जहाज अब डूबा तक डूबा,ऐसा हालत हो गयी। पहले तो वह कोरी-कोरी...