जयपुर,
राजस्थान में बीजेपी को मात देकर सत्ता में वापसी के लिए कांग्रेस ने सारे दांव चल दिए हैं। मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे सिंधिया को उनके घर में ही घेरने के लिए सबसे बड़ा दांव चलते हुए कांग्रेस ने बीजेपी के पूर्व वरिष्ठ नेता और अटल सरकार में मंत्री रहे जसवंत सिंह के बेटे मानवेंद्र सिंह को झालरापाटन से उतारा है।
Congress releases the second list of 32 candidates for Rajasthan Assembly elections. pic.twitter.com/OsypSUaHB1
— ANI (@ANI) November 17, 2018
कांग्रेस ने शनिवार को राजस्थान विधानसभा चुनाव के लिए 32 उम्मीदवारों की दूसरी लिस्ट जारी की। इससे पहले 152 उम्मीदवारों की पहली लिस्ट आई थी। इस लिस्ट में पार्टी के अधिकांश विधायकों और बड़े नेताओं के परिवार वालों को टिकट दिया गया था। इसको लेकर कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने दिल्ली तक पहुंच कर विरोध जताया था।
बीजेपी संस्थापक सदस्य के रूप में जसवंत सिंह की बाड़मेर इलाके में एक पहचान रही है। मगर उनके बेटे मानवेंद्र सिंह के कांग्रेस ज्वॉइन करने के बाद बाड़मेर की राजनीतिक परिस्थितियां बदल गई। मानवेंद्र सिंह बाड़मेर के शिव विधानसभा क्षेत्र से बीजेपी विधायक थे। पिछले महीने 17 अक्टूबर को उन्होंने राहुल गांधी से मुलाकात के बाद कांग्रेस ज्वाइन कर लिया था।
सबसे बड़ी जीत का रिकॉर्ड
बीजेपी का दामन छोड़ने वाले शिव सीट से विधायक मानवेंद्र सिंह पूर्व में बाड़मेर-जैसलमेर लोकसभा क्षेत्र से सांसद रह चुके हैं। 2004 के लोकसभा चुनाव में मानवेंद्र सिंह के नाम सबसे ज्यादा मतों से जीतने का रिकॉर्ड है। सिंह ने उस समय 2,72000 से भी अधिक मतों से जीत दर्ज की थी।
मानवेंद्र सिंह राजनीति के अलावा खेल और पत्रकारिता से भी जुड़े हैं। वे आज भी अंग्रेजी अखबारों के लिए लिखते हैं। वे वर्तमान में राजस्थान फुटबाल संघ के प्रदेशाध्यक्ष होने के साथ ही राष्ट्रीय स्तर पर भी फुटबॉल संघ के उपाध्यक्ष भी हैं। प्रारंभिक पढ़ाई अपने गांव जसोल में करने वाले सिंह ने आगे की पढ़ाई अजमेर के मेयो कॉलेज और फिर लंदन में की।