जींद,
लाखों रूपये लूट की झूठी शिकायत देने वाला अनिल गांव मालसरी खेड़ा निवासी खुद ही अपने जाल में फंस गया। अब पुलिस इस आरोपी के खिलाफ झूठी शिकायत देने के आरोप में आरोपी के खिलाफ धारा 182 के तहत मामला दर्ज कर आगामी कार्रवाही करेगी।
पिल्लुखेड़ा थाना प्रभारी इंस्पेक्टर सिमरदीप सिंह ने बताया कि 16 मई 2018 को मालसरी खेड़ा गांव निवासी अनिल ने पिल्लुखेड़ा थाना में शिकायत दी की वह ठेकेदारी का काम करता हैं और वह बाईक पर 3 लाख 60 हजार रूपये की नगदी लेकर जा रहा था। तभी उसे दो युवकों ने पानी में कुछ मिलाकर पिला दिया और उससे लाखों रूपये छीन कर भाग गए। पुलिस ने अनिल की शिकायत पर कार्रवाही करते हुए आगामी जांच शुरू कर दी।
जांच जैसे जैसे आगे बढ़ी तो मामला स्वयं अनिल द्वारा रचा हुआ झूठा साबित हुआ। पुलिस ने जब अनिल से कड़ाई से पूछा तो उसने माना की लाखों रूपये की लूट योजना उसने मनघड़ंत व झूठी बनाई थी। दरअसल अनिल काफी कर्जदार है उसकी लोगों के साथ काफी देनदारी हैं। लोग उससे अपने पैसे मांग रहे थे। इतना ही नहीं अनिल जिस ठेेकेदार के साथ पार्टनरशिप पर ठेके का काम करता है उसे भी अपने हिस्से के पैसे देने थे। इन सब से बचने के लिए उसने यह झूठी योजना बनाई।
इन सब बातों का खुलासा उस वक्त हुआ जब उसका बैंक खाता खंगाला गया। अनिल ने कुछ समय पहले पिल्लुखेड़ा के एक आढ़ती से 4 लाख 25 हजार रूपये की राशि चैक द्वारा ली थी। वह राशि उसने अलग—अलग लोगों को दे दी। अब अपने पार्टनर को व अन्य लोगों की देनदारी से बचने के लिए उसने 3 लाख 60 हजार रूपये लूट की झूठी योजना बना डाली ताकि कुछ समय के लिए देनदारी से बच सके। इस प्रकार पिल्लुखेड़ा पुलिस को लूट की झूठी योजना बनाकर शिकायत देने वाले अनिल के खिलाफ धारा 182 के तहत मामला दर्ज कर पुलिस आगामी कार्रवाही करेगी।
पिल्लुखेड़ा थाना प्रभारी सिमरजीत सिंह ने कहा कि पुलिस को झूठी शिकायत देने पर शिकायतकर्ता के खिलाफ भी कानूनी कार्रवाही का प्रावधान हैं। ऐसे लोगों को चाहिए कि वह पुलिस को झूठी व मनघड़ंत शिकायत देकर अपना व पुलिस का समय बर्बाद न करें। अन्यथा ऐसे लोगों के खिलाफ भी सख्त कार्रवाही होगी।