हिसार,
हरियाणा प्रदेश व्यापार मण्डल के प्रान्तीय अध्यक्ष व हरियाणा कॉन्फेड के पूर्व चैयरमेन बजरंग गर्ग ने व्यापारी प्रतिनिधियों से बातचीत करने के उपरान्त कहा कि हरियाणा सरकार ने नगर निगम व नगर परिषद द्वारा हर व्यापारियों को व्यापार करने के लिए ट्रेड लाइसेंस (व्यवसाय कर) लेने का जो कानून बनाया है, वह व्यापारी विरोधी है। इसे किसी कीमत पर सहन नहीं किया जाऐगा। जबकी प्रदेश का व्यापारी व उद्योगपति केन्द्र व हरियाणा सरकार को वेट कर, इन्कम टैक्स, हाऊस टैक्स, मार्केट फीस आदि हर प्रकार के टैक्स दे रहा है तो ऐसे में नया ट्रैड लाईसैंस (व्यवसाय कर) लगाने का कोई औचित्य नहीं है।
व्यवसाय कर कानून बनाने से प्रदेश के व्यापारियों में बड़ा भारी रोष है। प्रान्तीय अध्यक्ष बजरंग गर्ग ने कहा कि पिछली सरकार ने भी प्रदेश में व्यवसाय कर लगाने का कानून बनाया था, मगर व्यापारियों के विरोध के कारण पिछली सरकारों ने यह कानून वापिस लेना पड़ा। श्री गर्ग ने कहा कि एक तरफ सरकार इंस्पेक्टरी राज खत्म करने का ढोल पीट रही है, दूसरी तरफ सरकार नया ट्रेड कर लगाकर व नए-नए कानून बनाकर व्यापारियों को तंग करने के लिए इंस्पेक्टर राज को पूरी तरह बढ़ावा दिया जा रहा है, जो उचित नहीं है।
प्रान्तीय अध्यक्ष बजरंग गर्ग ने कहा कि सरकार को व्यापारियों व उद्योगपतियों के हित में ट्रैड कर कानून को वापिस लेना चाहिए। एक देश एक टैक्स के तहत जब देश में केन्द्र सरकार ने जीएसटी लागू कर दिया तो एक टैक्स प्रणाली के तहत मार्केट फीस लगाए रखने का कोई औचित्य नहीं बनता। देश व प्रदेश में व्यापारी व किसान के हित में मार्केट फीस समाप्त की जाए। प्रदेश में कानून व्यवस्था की स्थिति दिन-प्रतिदिन खराब हो रही है। उसमें सुधार लाने के लिए सरकार को कठोर से कठोर कदम उठाने चाहिए ताकि प्रदेश का व्यापारी व उद्योगपति भयमुक्त होकर अपना व्यापार कर सके।
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