हिसार,
केंद्र में अटल बिहारी वाजपेयी के प्रधानमंत्री काल के दौरान अप्रैल 2004 में सरकारी कर्मचारियों की पुरानी पेंशन लाभ योजना को खत्म कर नई पेंशन स्कीम लागू करने संबंधी निर्णय लिया गया जिसको यूपीए सरकार ने लागू करने का काम किया। इसी योजना को हरियाणा सहित अन्य राज्य सरकारों ने भी लागू किया। उस समय केवल केरल सरकार ने इस योजना को अपने कर्मचारियों पर लागू नहीं किया।
यह बात अखिल भारतीय राज्य कर्मचारी परिसंघ के राष्ट्रीय चेयरमैन एमएल सहगल ने एक बयान में कही। उन्होंने कहा कि हरियाणा में तत्कालीन मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा के नेतृत्व वाली सरकार ने भी पुरानी पेंशन लाभ को समाप्त कर नई पेंशन योजना को राज्य के कर्मचारियों पर जबरन थौंपा था। अब वहीं भूपेंद्र हुड्डा हरियाणा के कर्मचारियों को राजस्थान की तर्ज पर पुरानी पेंशन स्कीम का लाभ देने की मांग कर राजनीतिक लाभ लेने का प्रयास कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि हरियाणा के कर्मचारियों को पुरानी पेंशन स्कीम का लाभ देने के मुद्दे पर प्रदेश के मुख्यमंत्री मनोहरलाल और उप मुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला चुप्पी साधे हुए हैं। उन्होंने राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत द्वारा विधानसभा में अपने कर्मचारियों को पुरानी पेंशन स्कीम बहाल करने की घोषणा का स्वागत किया है।
राष्ट्रीय चेयरमैन ने केरल व राजस्थान सरकार की तर्ज पर हरियाणा के कर्मचारियों को पुरानी पेंशन स्कीम का लाभ देने की मांग की है। उन्होंने कहा कि यदि राज्य सरकार ने इस मांग को पूरा नहीं किया तो कर्मचारी संगठन संयुक्त तौर पर व्यापक आंदोलन शुरू करने को विवश होंगे। एमएल सहगल ने कहा कि हरियाणा पेंशनरज समाज के आह्वान पर गत दिवस जींद में राज्य स्तरीय प्रदर्शन करके 11 सूत्रीय मांग पत्र जिला उपायुक्त के माध्यम से प्रदेश के मुख्यमंत्री को भेजा है, जिसमें मुख्य रूप से पुरानी पेंशन स्कीम लागू करने की मांग की गई है।