नई दिल्ली
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का रूस दौरा काफी अह्म माना जा रहा था। दुनियां के सभी देशों की नजर इस दौरे पर है। लेकिन अब इस दौरे ने भारत के पड़ोसी देशों के माथे पर चिंता की लकीरे खींच दी है। दौरे के दौरान भारत और रूस के बीच कई महत्वपूर्ण मुद्दों पर समझौता हुआ है। रूस ने विस्तारित संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में स्थायी सदस्यता के लिए भारत की उम्मीदवारी और परमाणु आपूर्तिकर्ता समूह (एनएसजी) और परमाणु हथियार अप्रसार की अन्य व्यवस्था में इसकी सदस्यता के अपने पुरजोर समर्थन की बात भी दोहराई है।
पड़ोसी देशों को अब तो एक और झटका लगा है। रूस के उप प्रधानमंत्री दिमित्री रोगोजिन ने ऐलान किया कि भारत को विमान भेदी मिसाइल प्रणाली एस-400 की आपूर्ति को लेकर प्रीकान्ट्रैक्ट तैयारियां जारी हैं।
क्या है एस-400 की विशेषताएं
एस-400 Triumf, एक विमान भेदी मिसाइल है। एस-400 Triumf रूस की नई वायु रक्षा मिसाइल प्रणाली का हिस्सा है, जो सन् 2007 में रूसी सेना में तैनात की गई थी। इन मिसाइलों से विमानों, क्रूज और बैलिस्टिक मिसाइलों तथा ज़मीनी ठिकानों को भी निशाना बनाया जा सकता है। ये मिसाइलें 400 किलोमीटर तक मार कर सकती हैं।
चीन के पास है यह मिसाइल
रूस के अलावा यह वायु रक्षा मिसाइल प्रणाली चीन ने भी ख़रीदकर अपनी सेना में शामिल की है। भारत को चीन की ओर से भी मिसाइल हमलों और हवाई हमलों का ख़तरा रहता है। इसलिए एस-400 वायु सुरक्षा प्रणाली की बहुत सख़्त ज़रूरत हैै।
वायु सेना होगी मजबूत
एस-400 के भारतीय सेना में आने से वायुसेना काफी मजबूत हो जायेगी। भारतीय सेना इससे न केवल पाकिस्तान बल्कि चीन को भी करारा जवाब देने में सक्षम हो जायेगी।
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