बेंगलुरु,
कर्नाटक के विधानसभा परिसर में आज एचडी कुमारस्वामी मुख्यमंत्री पद की शपथ लेने जा रहे हैं। उनके साथ कांग्रेस विधायक जी. परमेश्वर उप मुख्यमंत्री पद की शपथ लेंगे। कुमारस्वामी की शपथ पर एक तरफ जहां बीजेपी प्रदेशव्यापी विरोध प्रदर्शन कर रही है। वहीं, दूसरी तरफ कर्नाटक विधानसभा परिसर में बने मंच से बीजेपी के विरोध में विपक्षी दलों का शक्ति प्रदर्शन भी दिखेगा।
कुमारस्वामी के शपथ समारोह से ज्यादा नजर उस मोर्चे पर होगी जो 2019 के रण का आरंभ करने के लिए यहां इकट्ठा होगा। कुमारस्वामी के शपथ ग्रहण समारोह में पूरब से पश्चिम तक, उत्तर से दक्षिण तक गैर बीजेपी नेता पहुंच रहे हैं। दिलचस्प बात ये है कि राजनीतिक और वैचारिक रूप से विरोधी माने जाने वाले नेता भी कांग्रेस-जेडीएस के इस आयोजन में एक मंच पर नजर आने वाले हैं।
शपथ ग्रहण समारोह में यूपीए की चेयरपर्सन सोनिया गांधी के अलावा कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी मौजूद रहेंगे। इनके अलावा कभी यूपी की राजनीति के धुर-विरोधी रहे बसपा और सपा के प्रमुख नेता मायावती व अखिलेश यादव भी एक मंच मौजूद होंगे। ऐसा पहली बार होगा जब दोनों नेता एक साथ, एक वक्त, एक मंच पर नजर आएंगे।
इनके अलावा बीजेपी को हराने के लिए ममता और लेफ्ट नेता भी एक मंच पर नजर आएंगे। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और केरल के मुख्यमंत्री पी विजयन शपथ ग्रहण में शिरकत कर रहे हैं।
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, आरजेडी नेता और बिहार के पूर्व उप-मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव, आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू और इनेलो से अभय चौटाला भी शपथ ग्रहण समारोह का हिस्सा बनेंगे।
यानी 2019 के आम चुनाव में बीजेपी को हराने के लिए ममता और लेफ्ट के नेता भी एक मंच पर दिखेंगे, तो दूसरी तरफ कांग्रेस और यूपीए सरकार के खिलाफ भ्रष्टाचार के मुद्दे पर आंदोलन करने वाले अरविंद केजरीवाल भी सोनिया और राहुल के साथ मंच साझा करेंगे। ऐसे में मोदी के नाम पर दलों के भेद खत्म करने वाला यह फॉर्मूला 2019 में बीजेपी की राह में रोड़ा बन सकता है।
जेडीएस नेता कुमारस्वामी की ताजपोशी की तैयारियां पूरी हो चुकी है। एचडी कुमारस्वामी के साथ कर्नाटक कांग्रेस के अध्यक्ष जी परमेश्वर डिप्टी सीएम पद की शपथ लेंगे। विधानसभा के स्पीकर का पद भी कांग्रेस को मिला है, जबकि डिप्टी स्पीकर जेडीएस से होगा। इसके बाद गुरुवार को केआर रमेश कुमार को स्पीकर चुना जाएगा। कांग्रेस की ओर से जारी बयान में इसकी जानकारी दी गई।