हिसार

पीटीआई अध्यापकों को वापस ड्यूटी पर नहीं लिया तो उनका आंदोलन जन आंदोलन बन जाएगा : किरमारा

हरियाणा रोडवेज संयुक्त कर्मचारी संघ ने किया पीटीआई अध्यापकों के धरने का समर्थन

हिसार,
हरियाणा रोडवेज संयुक्त कर्मचारी संघ के राज्य प्रधान एवं हरियाणा रोडवेज तालमेल कमेटी के वरिष्ठ सदस्य दलबीर किरमारा ने हटाए गए पीटीआई अध्यापकों द्वारा दिए जा रहे धरना का समर्थन करते हुए सरकार को चेतावनी दी है कि सरकार 1983 पीटीआई अध्यापकों को तुरंत ड्यूटी पर ले नहीं तो रोडवेज तालमेल कमेटी इस आंदोलन में सीधे तौर पर कूदने को मजबूर होगी।
दलबीर किरमारा ने कहा कि चुनाव के समय वोट के लिए कर्मचारियों, किसानों, मजदूरों और महिलाओं के आगे गिड़गिड़ा कर वोट हासिल कर सत्ता में हासिल कर लेते हें और सत्ता में आने के बाद कर्मचारी, किसान, मजदूरों के हित में फैसले न लेकर जनविरोधी फैसले लेते हेँं और जब जनता सरकार को उनके द्वारा किए गए वायदों को याद दिलाने के लिए आंदोलन करती है तो लाठियां भांज कर उनको नौकरी से निकाल कर एस्मा जैसे काले कानून के तहत मुकदमें दर्ज कर उनकी आवाज को दबाने का काम किया जाता है।
राज्य प्रधान दलबीर किरमारा ने कहा कि पहले लैब अटैंडेंट, उसके बाद कम्प्यूटर टीचर, गेस्ट टीचर, लेक्चरर, रोडवेज और अब पीटीआई अध्यापकों को नौकरी से बाहर कर दिया गया, जिससे सरकार का जनविरोधी चेहरा उजागर हो गया है। उन्होंने कहा कि आज आम जनता व कर्मचारियों को समझन होगा और जातपात व धर्म की राजनीति से दूर रहकर जनहित, कर्मचारी हित, किसान व मजदूर हित में सभी को एक मंच पर आने की आवश्यकता है, ताकि हटाए गए कर्मचारियों को ड्यूटी पर वापस लेने, किसानों को फसल के पूरे दाम देने, मजदूरों के लिए श्रम कानून लागू करने और छात्रों की लगातार मनमाने तरीके से बढ़ाई जा रही फीस वापस कम करवाई जा सके। इसके लिए धर्म, जातपात व क्षेत्रवाद को छोड़ कर सरकार के खिलाफ एकजूट होना होगा। दलबीर किरमारा ने जोर देकर कहा कि 10 साल से नौकरी कर रहे पीटीआई अध्यापकों को तुरंत नौकरी पर वापस लिया जाए नहीं तो यह आंदोलन केवल पीटीआई अध्यापकों का आंदोलन ना होकर जन आंदोलन बन जाएगा।

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