हिसार

सेक्टरों की इन्हासमेंट समय सीमा बढ़ाने की मांग नहीं की बल्कि इन्हासमेंट वापिस लें सरकार : किरमारा

हाईकोर्ट में हुडा अधिकारी कर चुके इन्हासमेंट मांगने से मना, अब चल रहा है अवमानना का मुकदमा

जिनसे इन्हासमेंट मांगी जा रही है, उन्हें हिसाब पूछने का पूरा अधिकार, हिसाब दे सरकार

हिसार,
सेक्टर 16-17 एवं 13 पार्ट-2 वेल्फेयर एसोसिएशन के पूर्व प्रधान एवं रोडवेज कर्मचारी नेता दलबीर किरमारा ने सेक्टरों में आई इन्हासमेंट भरने की समय सीमा बढ़ाने की मांग को सिरे से खारिज किया है। उन्होंने कहा कि सेक्टरवासियों ने समय बढ़ाने की कोई मांग नहीं बल्कि वे हिसाब मांग रहे हैं कि आखिर उनसे बार-बार किस आधार पर इन्हासमेंट मांगी जा रही है। वैसे भी सेक्टरवासी इन्हासमेंट भरने से मना नहीं कर रहे लेकिन उनकी मांग है कि हुडा विभाग इन्हासमेंट का आधार तो बताए।
दलबीर किरमारा कुछ नेताओं के बयानों पर प्रतिक्रिया व्यक्त कर रहे थे, जिसमें उन्होंने कहा था कि उन्होंने मुख्यमंत्री व हुडा अधिकारियों से इन्हासमेंट भरने की समय सीमा बढ़ाने की मांग की है। उन्होंने कहा कि यदि हुडा विभाग व अधिकारी सेक्टरवासियों की बैठक बुलाकर उन्हें दें और ये बताएं कि उनकी कब की और कितनी इन्हासमेंट बकाया है तो सेक्टरवासी इन्हासमेंट भरने को तैयार है लेकिन पहले लेन-देन का हिसाब तो बताया जाए। उन्होंने सेक्टरवासियों की मांग दोहराते हुए कहा कि हमें छूट नहीं बल्कि हिसाब चाहिए और यह केवल रीकेलकुलेशन (दोबारा गणना) से ही संभव है, जिससे हुडा अधिकारी भाग रहे हैं। उन्होंने कहा कि इन्हासमेंट के खिलाफ सेक्टरवासियों ने लंबा संघर्ष किया है और उच्च न्यायालय में हुडा अधिकारियों ने यहां तक कहा है कि हम सेक्टरवासियों से इन्हासमेंट मांगते ही नहीं और नोटिस भी वापिस ले लेंगे। उन्होंने कहा कि सेक्टरवासियों को छूट नहीं बल्कि न्याय चाहिए, क्योंकि हुडा विभाग ने हाईकोर्ट में स्वीकारा है कि हम इन्हासमेंट नहीं मांगते तो फिर बार-बार नोटिस देकर जनता को परेशान करने का क्या औचित्य है।
दलबीर किरमारा ने सरकार से सवाल किया कि आखिर वह सेक्टरवासियों को छूट किस आधार पर देने की घोषणा कर रही है। पहले छूट 40 प्रतिशत, फिर 37 प्रतिशत तो कभी 8 प्रतिशत से 82 प्रतिशत की छूट देने की बात की जा रही है जबकि सेक्टरवासियों का कहना है कि हमारी तरफ कोई इन्हासमेंट ही बकाया नहीं है। यदि सरकार व हुडा अधिकारियों को कोई संदेह है तो वे ये बताएं कि वे किस आधार पर इन्हासमेंट मांग रहे हैं। उन्होंने कहा कि जिन सेक्टरवासियों से पैसे मांगे जा रहे हैं, उन्हें हिसाब पूछने का भी पूरा अधिकार है और सरकार व हुडा अधिकारियों को बताया जाना चाहिए कि वे किस आधार पर कितने पैसे इन्हासमेंट के मांग रहे हैं। उन्होंने कहा कि जब तक सरकार एवं हुडा अधिकारी हमें हिसाब नहीं देंगे, तब तक हम किसी प्रकार की इन्हासमेंट नहीं भरेंगे। उन्होंने आरोप लगाया कि हुडा विभाग की ओर से समय-समय पर गैर कानूनी पत्र जारी करके सेक्टरवासियों को मानसिक व आर्थिक रूप से परेशान किया जा रहा है। उन्होंने सरकार से मांग की कि वह जल्द से जल्द सेक्टरवासियों की बैठक बुलाकर सेक्टरवासियों पर डाली गई इन्हासमेंट वापिस लेने की घोषणा करके उन्हें राहत प्रदान करें।

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