हिसार

विदेशी निवेश के विरोध में आदमपुर व्यापार मंडल ने किया फैडरेशन का समर्थन

आदमपुर(अग्रवाल)
एकल बिंदु जी.एस.टी. के समर्थन व खुदरा में विदेशी निवेश के विरोध में हरियाणा सहित आदमपुर व्यापार मंडल ने फैडरेशन का समर्थन किया है। फैडरेशन ऑफ ऑल इंडिया व्यापार मंडल द्वारा आगामी 25 सितम्बर को सुबह 10 बजे जंतर-मंतर नई दिल्ली पर प्रदर्शन करेगी। आदमपुर व्यापार मंडल प्रधान लीलाधर गर्ग ने बताया कि उक्त धरना सभा में देशभर से व्यापारी प्रतिनिधि भाग लेकर एकल बिंदु जी.एस.टी. के समर्थन एवं खुदरा में विदेशी निवेश के विरोध में 1 दिवसीय धरने के माध्यम से अपना विरोध प्रकट करेंगे। उत्तर प्रदेश युवा व्यापार मंडल के प्रदेश अध्यक्ष विकास जैन ने आदमपुर अनाज मंडी में व्यापारियों को संबोधित करते हुए कहा कि व्यापारियों का करोड़ों रुपए वैट व जी.एस.टी. का रिफंड बकाया पड़ा है, जोकि पोर्टल के न खुलने की वजह से वापस नहीं हो पा रहा है।
व्यापारी के लिए इस तरह अपनी पूंजी को ब्लॉक करना संभव नहीं है। सरकार को व्यापारियों के सारे रिफंड वापस करने चाहिए। उन्होंने बताया कि फैडरेशन ने एकल बिंदु जी.एस.टी. लागू करने हेतु फैडरेशन द्वारा प्रधानमंत्री को एक निवेदन पत्र प्रेषित किया था और प्रधानमंत्री कार्यालय द्वारा अरुण जेटली की अस्वस्था के चलते केंद्रीय वित्त सचिव हसमुख अधिया को एकल बिंदु जी.एस.टी. हेतु अधिकृत किया जिस पर फैडरेशन के शिष्टमंडल ने अप्रैल में एक विस्तृत प्रैजेंटेशन प्रस्तुत किया। देशभर में लगातार एकल बिंदु के समर्थन में व्यापारियों की जगह-जगह सभा हो रही है। प्रस्तावित एकल बिंदु जी.एस.टी. के अंतर्गत अंतिम निर्माता से अधिकतम खुदरा उपभोक्ता मूल्य पर जी.एस.टी. वसूल कर लिया जाए तो निर्माता से उपभोक्ता के मध्य सभी व्यापारी वर्ग जी.एस.टी. से मुक्ति पा सकते हैं और सरकार को बिना किसी राजस्व हानि को ज्यादा टैक्स प्राप्त होगा।
2010 में भारत सरकार द्वारा विदेश थोक कैश एंड कैरी की अनुमति प्रदान की थी। निर्धारित नियमों का उल्लंघन व्यवसाय के लिए बहुत बड़ा खतरा बन चुके हैं। उन्होंने कहा कि खुदरा व्यापार में विदेशी निवेश एवं ई-कॉमर्स के बढ़ते प्रभाव से देशी व्यापारी खतरे में पड़ गई है और खुदरा व्यापार देश में सबसे ज्यादा रोजगार प्रदान करता है यदि स्वयं उसका ही खतरे में पड़ गया तो बेरोजगार युवाओं को रोजगार कैसे प्राप्त होगा।
जैन ने बताया कि दिल्ली उत्तर प्रदेश, हरियाणा, पंजाब, राजस्थान, गुजरात, मध्य प्रदेश, उत्तराखंड, बिहार, पश्चिम बंगाल, आंध्र प्रदेश राज्यों से सभी व्यापारी धरने में शामिल होने के लिए अपनी स्वीकृति दे चुके हैं। प्रधानमंत्री से भी अनुरोध किया गया है कि व्यापारी की भावनाओं को समझने के लिए भारत सरकार अपना प्रतिनिधि भेजें, जो प्रधानमंत्री को वास्तविक स्थिति से अवगत करा सके। उन्होंने कहा कि व्यापारी समय से अपना कर अदा करने को तैयार हैं लेकिन सरकार एकल बिंदु को लागू करने में विलंब कर रही है जिससे व्यापारियों के कई प्रकार की समस्याएं उत्पन्न हो रही है।
इस मौके पर व्यापारी नेता एवं जिला पार्षद रामप्रसाद गढ़वाल, जयकुमार जैन, सुभाष गर्ग, प्रदीप महेश्वरी, राजकुमार गोयल, युद्धिष्ठिर बंसल, सुभाष अग्रवाल आदि उपस्थित रहे।

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