हिसार,
पूरा हिसार एक किले के रुप में तबदील है। शहर के सभी प्रवेश पर पुलिसबल तैनात है। प्रत्येक वाहन की चैकिंग की जा रही है। यहां तक की रोडवेज बसों के चालक और परिचालक से भी पूछा जा रहा है कि बस में रामपाल का अनुयायी तो नहीं है। हिसार में प्रवेश के बाद भी कई स्थानों पर संदिग्ध वाहनों को रोककर पूछताछ के बाद आगे बढ़ने दिया जा रहा है।
बस स्टैंड के चारों गेट पर पुलिस बल कड़ी नजर रखे हुए है। दो अधिक लोगों को एक साथ बस स्टैंड पर प्रवेश करने पर पुलिस बल पूरी पूछताछ कर रहे है। बस स्टैंड पर बाहरी वाहन के प्रवेश पर पूरी तरह से रोक लगा दी गई है। वहीं रेलवे स्टेशन पर पुलिस काफी सर्तक दिखाई दे रही है। हालांकि आज किसी भी ट्रेन से कोई रामपाल समर्थक हिसार नहीं पहुंचा—लेकिन इसके बाद भी पुलिस रेलगाड़ी से उतरने वाले यात्रियों पर पैनी नजर बनाए हुए है। अधिकत यात्रियों की तलाशी ली गई और कुछ के आईकार्ड भी देखें गए।
लघुसचिवालय और टाउन पार्क की तरफ जाने वाले लोगों पर पुलिस ने काफी सर्तकता दिखाई। यहां पर पूरी तरह से पहचान होने के बाद ही लोगों को आगे बढ़ने दिया गया। लोगों ने भी पुलिस का काफी सहयोग किया। इस रस्ते पर जाने वाले लोग पुलिस को अपने पहचान पत्र दिखाए और पुलिसबल का सुरक्षा के इन इंतजामों के लिए प्रशासन का आभार भी प्रकट करते दिखाई दिए।
बता दें, रामपाल के हरियाणा में बरवाला स्थिति सतलोक आश्रम में करीब चार साल पहले पांच महिलाओं और डेढ़ साल के बच्चे की मौत के दो मामले में आज एडीजे डीआर चालिया की अदालत फैसला सुनायेंगी। रामपाल के खिलाफ फैसला आया तो उसके समर्थक हिंसक न हो जाए, इसके मद्देनजर ही प्रशासन ने सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए हैं। जिले में धारा-144 लगा दी गई है। वहीं रामपाल के समर्थक दो दिन पहले ही फैसले के समय हिसार में न आने की बात कह चुके है।
गौरतलब है कि 14 नवंबर 2014 को सतलोक आश्रम में हुए टकराव में चार महिलाओं और एक डेढ़ साल के बच्चे की मौत हुई थी। इसके बाद आश्रम के संचालक रामपाल पर हत्या के दो केस दर्ज किए गए। इनमें रामपाल समेत 28 आरोपी हैं। छह लोग दोनों केस में शामिल हैं। केस नंबर 429 में कुल 15 आरोपी हैं। वहीं केस नंबर 430 में 13 आरोपी हैं। दोनों केस की सुनवाई पूरी हो चुकी है।
सरकारी पक्ष रामपाल और आश्रम संचालकों को इन हत्याओं के लिए जिम्मेदार बता रहा है जबकि बचाव पक्ष इन केसों में पुलिस द्वारा की गई कार्रवाई से हुई मौत बता रहे हैं। हत्या के मुकदमा नंबर-429 व 430 में फैसला आना है। सेंट्रल जेल 2 में कोर्ट लगेगा। इसके चारों ओर 3 किमी का सुरक्षा घेरा बनाया है। इस दायरे में किसी बाहरी व्यक्ति के प्रवेश पर पूर्ण पाबंदी होगी।
इसलिए पुलिस ने जिले में 48 पॉइंट पर नाके लगाए हैं। एसटीएफ इंचार्ज डीआईजी बी सतीश बालन को कानून व्यवस्था की जिम्मेदारी सौंपी है। पुलिस व प्रशासन के 48 अधिकारियों की ड्यूटी लगाई है। पैरा मिलिट्री की 5 कंपनियां, पुलिस के 2000 जवान व 12 एसपी सुरक्षा के लिए तैनात रहेंगे।