हिसार

विमुक्त-घुमंतू/डीएनटी जातियों ने मांगा अनुसूचित जनजाति का आरक्षण

हिसार,
अखिल भारतीय डीएनटी / एस. टी संघर्ष समिति की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक हिसार में हुई जिसमें मुख्य अतिथि के तौर पर राष्ट्रीय संरक्षक अशोक वर्तिया व राष्ट्रीय अध्यक्ष अजमेर नायक ने शिरकत की। बैठक की अध्यक्षता राय सिंह चौहान एडवोकेट, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष ने की। बैठक में विमुक्त-घुमंतू, अर्ध घुमंतु जातियों को हरियाणा में अनुसूचित जनजाति की श्रेणी में शामिल करवाने बारे विचार विमर्श किया गया। गौरतलब है कि हरियाणा में अनुसूचित जनजाति श्रेणी नहीं है। श्रेणी नहीं होने के कारण इन जनजातियों के आरक्षण का 7.5 प्रतिशत हिस्सा अन्य राज्यों से आने वाली एस. टी की जातियां ले रही है। मीटिंग में इन जातियों को जल्द से जल्द आरक्षण देने बारे हरियाणा सरकार से मांग की गई कि हरियाणा सरकार प्रस्ताव पारित करके केंद्र सरकार को हरियाणा की डीएनटी जातियों को एस. टी में शामिल करने की केंद्र सरकार को सिफारिश भेजें। आजादी से लेकर आज तक एस. टी. की हरियाणा में श्रेणी नहीं होने के कारण केंद्र सरकार से मिलने वाले आरक्षण से हरियाणा की डीएनटी जाति वंचित है। अगर यह आरक्षण इनको मिला होता तो हरियाणा से भी इस कोटे से आज तक हजारों आई.ए.एस, आई.पी.एस व अन्य लाभ के पदों पर इन जातियों के लोग होते। आंदोलन को तेज करने के लिए संघर्ष समिति के पदाधिकारियों की जिम्मेदारियां भी लगाई गई।
बैठक में यह निर्णय लिया गया कि अगर सरकार इन जातियों की मांग को पूरा नहीं करती है तो वे आंदोलन के रास्ते को अपनाएंगे और आने वाले चुनाव में देश- प्रदेश में यह जातियां उस पार्टी का समर्थन करेगी जो इन जातियों को एस.टी का आरक्षण देने का आश्वासन अपने चुनाव घोषणापत्र में करेगी। भारत वर्ष में इन जातियों की आबादी करीब 30 करोड़ है तथा हरियाणा में 36 लाख है,जो हरियाणा की कुल आबादी का करीब 12 प्रतिशत बनता है अन्य राज्यों से आए हुए डीएनटी जातियों के पदाधिकारियों ने भी इस मांग का जोरदार समर्थन किया। विमुक्त-घुमंतू श्रेणी में आने वाली जातियां मुख्य तौर पर नायक, हेडी, अहेरिया, बाजीगर बंजारा, सांसी, ढया, गाडिय़ा लोहार, सपेरा जोगी-जंगम, योगी, मनिहार, लखेरा भाट, रेबारी, मदारी, भोपा, डूम, मिरासी, रायसिक्ख, बावरिया आदि हंै। बैठक में हरभगवान सिंह, दीदार बावरिया, जगदीश, राजकुमार हेडी, सोनू नायक, सुनील मनिहार, नसीब, सुरेंद्र बाजीगर, मास्टर सुमेर, श्यामलाल नायक, एडवोकेट हरमीत बाजीगर, डॉ. अजय सिंह, डॉ. सुरेंद्र सिंह, मा. चंद्रसिंह, एडवोकेट रितु राजपूत, एडवोकेट शीला राठी, संतराम, एडवोकेट दीपक रतिया, एडवोकेट दीपचंद, नरेश पाल, नरेंद्र पाल राजस्थान, बाबूलाल सुनार, विशाल नायक पार्षद पिलानी, जयसिंह आदि ने भाग लिया।

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